जौनपुर में राजस्व विभाग में भ्रष्टाचार चरम पर, रियल टाइम खतौनी योजना बनी शोषण का माध्यम: वकार हुसैन
Indian 24 Circle News
जौनपुर। जहाँ एक ओर सरकार भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने के लिए तमाम उपाय कर रही है, वहीं दूसरी ओर भ्रष्ट अधिकारी और कर्मचारी इन प्रयासों को विफल करते नजर आ रहे हैं। दफ्तरों में लगाए गए सीसीटीवी कैमरे और एंटी करप्शन विभाग की स्थापना के बावजूद भ्रष्टाचारियों की कार्यशैली पर कोई खास प्रभाव नहीं पड़ा है। हालात यह हैं कि अब अधिकारी और बाबू दफ्तरों के बाहर या दलालों के माध्यम से रिश्वत वसूली करने लगे हैं।
भ्रष्टाचार के खिलाफ मुखर आवाज उठाने वाले रिमूव करप्शन मिशन के संचालक एवं हिंदुस्तान मानवाधिकार संगठन के राष्ट्रीय महासचिव वकार हुसैन ने इस संबंध में उत्तर प्रदेश के राज्यपाल, मुख्यमंत्री, पंचायती राज मंत्री और जौनपुर के जिलाधिकारी को पत्र लिखकर राजस्व विभाग में फैले भ्रष्टाचार की गंभीर शिकायत की है।
श्री हुसैन ने पत्र में लिखा है कि चकबंदी विभाग और भूमि सुधार विभाग किसानों का खुलेआम शोषण कर रहे हैं। किसानों की समस्याओं को नजरअंदाज किया जा रहा है, जिससे आम जनता में गहरी नाराजगी है। उन्होंने बताया कि सरकार द्वारा पारदर्शिता के उद्देश्य से शुरू की गई "रियल टाइम खतौनी" योजना भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गई है। योजना के तहत गलत हिस्साकशी और फर्जी रिपोर्ट तैयार कर किसानों को धोखा दिया जा रहा है।
श्री हुसैन के अनुसार, यह काम अक्सर कार्यालय के बंद कमरों में किया जाता है, जहाँ केवल राजस्व कर्मियों के विश्वस्त दलालों को ही प्रवेश मिलता है। अगर कोई किसान फोन कर अपनी समस्या बताना चाहता है, तो उसका फोन तक रिसीव नहीं किया जाता। यही नहीं, कई लेखपालों ने अवैध वसूली के लिए निजी सहायक और एक पूरा नेटवर्क खड़ा कर लिया है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, जौनपुर के सिकरारा ब्लॉक अंतर्गत ग्रामसभा चकमाहन के गांव सुल्तानपुर दरवेश अली, जो नगरपालिका सीमा से सटा हुआ है, वहाँ बड़े पैमाने पर रियल टाइम खतौनी में गड़बड़ी की जा रही है। इसका मुख्य कारण यह है कि गांव के पास से हाईवे गुजर रहा है, जिस कारण भूमि की कीमतें बढ़ गई हैं। इस अवसर का लाभ उठाते हुए प्लॉटर्स और भूमाफिया सक्रिय हो गए हैं और राजस्व कर्मियों से मिलीभगत कर सरकारी राजस्व और गरीब किसानों को चूना लगा रहे हैं।
वकार हुसैन ने मांग की है कि ऐसे भ्रष्ट लेखपालों, राजस्व कर्मियों और भूमाफियाओं के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए, ताकि किसानों के साथ हो रहे अन्याय को रोका जा सके और सरकारी योजनाओं की विश्वसनीयता बनी रहे।

